यदि किसी परिवार का सदस्य अस्पताल में भर्ती होता है और डॉक्टर उस सदस्य को आईसीयू (ICU) के लिए रिफर कर देते है, तो सभी परिवार वाले बहुत ही घबरा जाते है | अधिकतर लोगों को ICU Full Form in Hindi के विषय में जानकारी नहीं होती है | यदि हमें इसकी जानकारी हो जाए तो हम इसके विषय में डॉक्टर से सही ढंग से बात कर सकते है, और परिवार के सदस्यों को सही जानकारी दे सकते है कि डॉक्टर क्यों रोगी को ICU में ले जा रहे है, और वहां पर डॉक्टर क्या उपचार करेंगे | इस पेज पर आईसीयू (ICU) का क्या मतलब है, फुल फार्म और इसके प्रकार के बारें में आपको यहाँ पूरी जानकारी विस्तार से दे रहे है|
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आईसीयू का फुल फार्म (ICU Full Form in Hindi)
विषयसूची
आईसीयू (ICU) को हिंदी भाषा में इसे गहन चिकित्सा केन्द्र के नाम से जाना जाता है | जब किसी रोगी को गंभीर बीमारी हो जाती है उस समय बीमारी के इलाज के लिए उसे ICU रूम में ले जाने की आवश्यकता होती है | यह हॉस्पिटल का एक विभाग होता है इसका कार्य गंभीर परिस्थिति वाले मरीजों का उपचार करना होता है | यहां पर रोगी को डॉक्टर के द्वारा तभी रिफर किया जाता है, जब नार्मल तरीके से स्थिति पर नियंत्रण नहीं किया जा सकता हो |
ICU Full Form in English | Intensive Care Unit |
आईसीयू फुल फार्म इन हिंदी | गहन चिकित्सा केन्द्र |
आईसीयू क्या है (What Is ICU)
यह एक प्रकार का रूम होता है, जहाँ पर अत्याधुनिक मेडिकल मशीनें रहती है | इस रूम में रोगियों के उपचार के लिए सबसे वरिष्ठ व श्रेष्ठ डॉक्टरों की टीम होती है | इन्हें बीमारी को ठीक करने का बहुत ही अधिक अनुभव होता है |
जब किसी मरीज की हालत बहुत ही नाजुक हो जाती है, जिससे रोगी के शरीर के सभी अंग सामान्य रूप से कार्य नहीं कर पाते है | उस समय रोगी को ICU में भर्ती करके सभी अंगों को सही ढंग से कार्य कराने का प्रयास किया जाता है |
जिससे रोगी के जीवन की रक्षा की जाती है | इस रूम में वह सभी सुविधाएँ प्रदान की जाती है जिससे अधिक से अधिक समय की बचत की जा सके |यदि किसी मरीज का इलाज समय पर शुरू कर दिया जाए तो उसकी जान आसानी से बचायी जा सकती है | इसी अवधारणा के आधार पर इस रूम का निर्माण किया गया है|
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आईसीयू में एडमिट कब किया जाता है (When Is A Patient Admit in ICU)
- यदि किसी दुर्घटना या एक्सीडेंट में व्यक्ति को बहुत ही अधिक चोट आयी होती है उस समय व्यक्ति को सीधा ICU में भर्ती किया जाता है जिससे उसकी जान बचायी जा सके |
- जब कोई बच्चा समय से पहले जन्म लेता उस समय उसे आईसीयू में एडमिट किया जाता है | इसके अतिरिक्त यदि बच्चा किसी बीमारी के साथ जन्म लेता उस समय भी उसे आसीयू में भर्ती किया जाता है |
- अगर किसी व्यक्ति को दिल का दौरा पड़ता उस समय उसे तुरंत ही ICU में भर्ती किया जाता है |
- यदि कोई व्यक्ति किसी कारणवश कोमा में चला जाता है, तो भी उसे आसीयू में भर्ती किया जाता है |
- अगर किसी महिला या पुरुष की किडनी फेल हो जाती है उस समय उसे डायलिसिस के लिए आसीयू में एडमिट किया जाता है |
- यदि किसी व्यक्ति को मस्तिष्क से सम्बंधित सर्जरी की जाती है तो उसे अच्छी प्रकार से देखभाल के लिए आसीयू में भर्ती किया जाता है |
आईसीयू में मरीज को कैसे अटेंड किया जाता है (How to Attend a Patient in ICU)
जब मरीज आसीयू में ले जाया जाता है, तो वहां के डॉक्टर और नर्स उस मरीज की स्थिति चेक करते है इस चेकअप में उन्हें कुछ समय लग जाता है | परिस्थिति का आँकलन करने के पश्चात तुरंत ही रोगी का इलाज शुरू कर दिया जाता है | डॉक्टर और नर्स सबसे पहले उस रोगी को आवश्यक उपकरण के साथ जोड़ते है, जिससे शरीर के सभी अंगों को नार्मल किया जा सके | दवा या इंजेक्शन के द्वारा वह मरीज को आवश्यक तत्व या विटामिन को पूरा करने का प्रयास करते है | इससे कमजोर पड़ रहें अंगों में ऊर्जा पहुँचायी जा सके |
आईसीयू में उपयोग होने वाले चिकित्सा उपकरण (Medical Equipment Used In ICU)
यह चिकित्सा उपकरण इस प्रकार है-
1.वेंटीलेटर (Ventilator)
जब किसी मरीज को सांस लेने में परेशानी महसूस होती है उस समय वेंटीलेटर का उपयोग किया जाता है |
2.फीडिंग ट्यूब (Feeding Tube)
जब कोई मरीज भोजन ग्रहण करने में पूरी तरह से असमर्थ होता है, तो उसके शरीर में भोजन पहुंचाने के लिए फीडिंग ट्यूब का प्रयोग किया जाता है |
3.ईईजी बॉक्स (EEG Box)
इसका उपयोग रोग के विषय में एक से अधिक जानकारी को प्राप्त करने के लिए किया जाता है |
4.पल्स ऑक्सीमीटर (Pulse Oximeter)
जब किसी रोगी के ब्लड में Oxigin Level को मापने की आवश्यकता होती है, उस समय इस उपकरण का उपयोग किया जाता है |
5.डायलिसिस (Dialysis)
जब किसी रोगी की किडनी फेल हो जाती उस समय उसके ब्लड को साफ़ करके पुनः उसी के शरीर में डालने की आवश्यकता होती है | इस कार्य को डायलिसिस (Dialysis) के द्वारा किया जाता है |
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ICU के प्रकार (Types Of ICU)
रोगों में आवश्यकता के अनुसार ICU कई प्रकार से विभाजित किया जाता है, इनमें से प्रमुख इस प्रकार है-
1. NICU (Neonatal Intensive Care Unit)
नवजात जन्में बच्चों से सम्बंधित बीमारियों के उपचार और उनकी देखभाल के लिए NICU का उपयोग किया जाता है |
2. PICU (Pediatric intensive care unit)
अस्थमा, इन्फ्लूएंजा, मधुमेह केटोएसिडोसिस, दर्दनाक मस्तिष्क से सम्बंधित रोगों के उपचार के लिए PICU का उपयोग किया जाता है |
3. Psychiatric intensive care unit (PICU)
मानसिक रूप से बीमार व्यक्तियों का उपचार Psychiatric intensive care unit (PICU) में किया जाता है |
4. CCU (Coronary care unit)
इसमें जन्मजात ह्रदय रोग और ह्रदय से सम्बंधित रोगों का उपचार किया जाता है |
5. MICU (Mobile Intensive Care Unit)
यह एक प्रकार की एम्बुलेंस सेवा होती है | इस एम्बुलेंस के अंदर आसीयू से सम्बंधित सभी प्रकार के उपकरण उपलब्ध रहते है | एम्बुलेंस के साथ ही में डॉक्टरों की एक टीम तैनात की जाती है, इसका प्रमुख कारण यह होता है, कि अचानक किसी भी समय यदि रोगी को उपचार की आवश्यकता होती है, उस समय तत्काल समय को बचाते हुए इलाज उपलब्ध कराया जा सके |
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