नेशनल इंटेलिजेंस ग्रिड (NATGRID) भारत के 14,000 पुलिस स्टेशनों में दर्ज किये गए केसो के डाटा को एक लिंक के माध्यम से जोड़ने का कार्य करेगा| वर्तमान समय में भारत में कोरोना के कारण कई योजनाएं बाधित है | नेशनल इंटेलिजेंस ग्रिड (NATGRID) से सुरक्षा और खुफिया एजेंसियों को कार्य करना बहुत आसान हो जायेगा | इसका प्रयोग एक केंद्रीकृत ऑनलाइन डेटाबेस के रूप में किया जायेगा | नैटग्रिड (NATGRID) क्या है, NATGRID Full Form, एजेंसियां और सर्विस प्रोवाइडर के बारें में आपको यहाँ पूरी जानकारी विस्तार से दे रहे है|
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नैटग्रिड का फुल फॉर्म (NATGRID Full Form In Hindi)
विषयसूची
नैटग्रिड का फुल फॉर्म National Intelligence Grid (नेशनल इंटेलिजेंस ग्रिड) के नाम से जाना जाता है, हिंदी भाषा में इसे राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो कहते है| इसकी स्थापना का मुख्य उद्देश्य एक खुफिया साझाकरण नेटवर्क को तैयार करना है, जिसका उपयोग करके आतंकवादी घटनाओं को पूरी तरह से रोका जा सके|
नेशनल इंटेलिजेंस ग्रिड क्या है (What Is NATGRID)
नेशनल इंटेलिजेंस ग्रिड (NATGRID) सुरक्षा एजेंसियों के लिए एक शक्तिशाली इंटेलिजेंस मैकेनिज्म है जिसके आधार पर उन्हें अपराधों को नियंत्रित करने में बहुत ही सुविधा होगी | वह इसका उपयोग आतंकी घटनाओं को विफल करने और उन्हें पकड़ने में कर सकेंगे | NATGRID की परिकल्पना 26 /11 मुंबई आतंकी हमले के पश्चात हुई थी |
नैटग्रिड में दूरसंचार, बैंकिंग तथा वित्तीय लेनदेन, हवाई यात्रा, क्रेडिट कार्ड के खरीददारी, कर दाता, ट्रेन यात्रियों से सम्बंधित डाटा, आप्रवासन प्रवेश तथा प्रस्थान की जानकारी प्रदान की जाएगी | NATGRID का मुख्यालय दिल्ली में है और इसका डाटा रिकवरी केन्द्र बंगलुरु में है|
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नेटग्रिड कार्य कैसे करेगा (How Will NATGRID Work)
खुफिया इनपुट के माध्यम से देश में आने और जाने वाले प्रत्येक व्यक्ति का पूरा डाटा नेटग्रिड के पास उपलब्ध होगा। बैंकों से सम्बंधित किसी भी के लेन-देन, डेबिट या क्रेडिट कार्ड से खरीदारी, ऑनलाइन शॉपिंग, सोशल मीडिया प्रोफाइल, इंटरनेट सर्च, व्यक्तिगत करदाता, रेल यात्रियों तथा हवाई यात्रियों का रीयल टाइम डाटा भी नेटग्रिड की पहुंच में होगा। सुरक्षा एजेंसियां इसकी सहायता से हर संदिग्ध हरकत पर 24 घंटे नजर रख सकेंगी। नेटग्रिड सभी तरह के डाटा का एनालिसिस कर, उसे खुफिया एजेंसियों तक पहुंचाएगा। संदिग्ध गतिविध पर नेटग्रिड सुरक्षा एजेंसियों को अलर्ट करेगा।
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नैटग्रिड में शामिल एजेंसियां और सर्विस प्रोवाइडर (Agencies And Service Providers Involved In NATGRID)
वर्तमान समय में नैटग्रिड में 10 यूजर एजेंसियां तथा 21 सर्विस प्रोवाइडर को सम्मिलित किया गया है | यह इसका प्रथम चरण है, इसके पश्चात अन्य एजेंसियों को क्रम वृद्ध तरीके से जोड़ा जायेगा | अन्य चरणों में 950 संगठनों को जोड़नें की योजना पर कार्य किया जा रहा है| नैटग्रिड के डाटा का उपयोग कर्ता एजेंसियां इस प्रकार है-
- केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI)
- प्रवर्तन निदेशालय (ED)
- केन्द्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT)
- इंटेलिजेंस ब्यूरो (IB)
- रिसर्च एंड एनालिसिस विंग (RAW)
- नारकोटिक्स कण्ट्रोल बोर्ड (NCB)
- राजस्व इंटेलिजेंस निदेशालय (DRI_
- फाइनेंसियल इंटेलिजेंस यूनिट (FIU)
- सेंट्रल बोर्ड ऑफ एक्साइज एंड कस्टम्स (CBEC)
- डायरेक्टर जनरल ऑफ़ सेंट्रल एक्साइज एंड इंटेलिजेंस (DGCEI)
नैटग्रिड का उपयोग कैसे होगा (How Will NATGRID Be Used)
सभी सुरक्षा एजेंसियां NATGRID से रियल टाइम बेसिस पर डाटा प्राप्त करेंगी | इसमें वह एफआईआर, बैंकिंग और संदिग्धों के फ़ोन विवरण, चुराए गए वाहनों की जानकारी को एकत्रित करेंगे | इससे कोई भी अपराधी चुराए गए वाहनों या फ़ोन का यदि उपयोग करता है, तो उसे पकड़ने में आसानी होगी |
यदि किसी आतंकवादी घटना में किसी वाहन का उपयोग किया जाता है, तो उस वाहन के नंबर से असली साजिश कर्ता तक पंहुचा जा सकता है | सुरक्षा एजेंसियां नैटग्रिड के द्वारा वित्तीय लेन- देन पर नजर रख सकती है जिससे मनी लॉन्डरिंग जैसी बड़ी घटनाओं को रोका जा सकता है|
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नैटग्रिड से हानि (Loss From Natgrid)
नैटग्रिड से हानि इस प्रकार है-
- नैटग्रिड के द्वारा सोशल मीडिया, बैंक एकाउंट के डाटा का उपयोग किया जा सकता है | इससे व्यक्ति की निजता के कानून का उल्लंघन होता है |
- इतने बड़े डाटा को सुरक्षा प्रदान करना भी एक बहुत बड़ी चुनौती है |
- यदि किसी भी प्रकार से कोई भी डाटा लीक हो जाता है, तो उसका गलत उपयोग किया जा सकता है |
- राज्यों की पुलिस को नैटग्रिड के डाटा का उपयोग करने की अनुमति नहीं दी गयी है, इससे किसी घटना पर तुरंत ही कार्यवाही नहीं की जा सकती है|
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